यूपी में कोरोना काल में समाजिक दायित्व को निभाते हुए कोरोना संक्रमण की चपेट में आने से 53 पत्रकारों को जान गवानी पड़ी थी। प्रदेश के मुखिया योगी आदित्यनाथ ने दिवंगत पत्रकारों के परिवारों को सहायता राशि की चेक प्रदान की है। भारत रत्न और पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेई की जयंती के अवसर पर पीड़ित परिवारों को सहायता राशी दी गई है। बीजेपी इस दिन को सुशासन दिवस के रूप में मनाती है।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कोविड-19 से दिवंगत 53 पत्रकारों के परिजनों को कुल 5.30 करोड़ रुपये की सहायता राशि चेक वितरित किए हैं। इस दौरान योगी आदित्यनाथ ने कहा कि आज का दिन हम सबके के लिए भावुक क्षण है। उन्होंने कहा कि पूरी दुनिया पिछले 3 सालों से इस सदी की सबसे बड़ी महामारी की चपेट में रही है।
इस दौरान केन्द्र और यूपी सरकार के कोरोना प्रबंधन की पूरी दुनिया ने तारीफ भी की है। सीएम ने कहा कि जहां पूरी दुनिया कोरोना की वजह से त्रस्त हो गई थी। वहीं भारत में पीएम मोदी के नेतृत्व में टीम वर्क के चलते कोरोना पर कंट्रोल पाया गया।
कोरोना काल में मीडिया कर्मियों के योगदान का जिक्र करते हुए कहा कि कोरोना काल खंड के दौरान मीडिया ने भी अनुशासन के साथ लोगों को जोड़ने का काम किया। इस दौरान मीडिया जगत के लोगों को भी अपनी जान गंवानी पड़ी थी।
सीएम ने कहा कि कोरोना काल में 103 मान्यता प्राप्त पत्रकार इस बीमारी की चपेट में आ गए। उनकी जान चली गई। जिसके बाद उनके परिवारों के सामने भरण-पोषण की समस्या खड़ी हो गई थी। प्रदेश सरकार ने इन सभी दिवंगत पत्रकारों के परिवारों को 10-10 लाख रुपये सहायता राशि प्रदान की है।
सीएम योगी ने कहा कि इससे पहले पिछले साल जुलाई में 50 दिवंगत पत्रकारों के परिजनों को 10-10 लाख रुपये की सहायता राशि दी गई थी। जिसके बाद अब बाकि 53 पत्रकारों को भी सहायता राशि दी गई है।