कानपुर। बीते 3 जून को बेकनगंज थानाक्षेत्र के नई सक व दादा मिया के हाता समेत कई इलाके में हिंसा भड़क गई थी। पुलिस ने कड़ी मशक्कत के बाद दंगाईयों पर काबू पाया। एक सप्ताह के बाद आज फिर जुमा है। ऐसे में कानपुर कमिश्नरेट पुलिस ने पूरी ताकत झोंक दी है। पुलिस लाइन में गुरुवार की शाम नियंत्रण मॉक ड्रिल की गई जिसमें शामिल क्यूआरटी, रिजर्व पुलिस व महिला पुलिस ने एन्टी राइट इक्युपमेंट पर अभ्यास किया।
धारा 144 लागू
जुमे की नमाज से पहले पुलिस लाइन पुलिस आयुक्त विजय सिंह मीना की अध्यक्षता में एक बैठक हुई, जिसमें सुरक्षा तैयारियों को अमलीजामा पहनाया गया। पुलिस के साथ अर्धसैनिक बल के अलावा पीएसी के जवानों को चप्पे-चप्पे पर तैनात किया गया है। जनपद में धारा 144 लगा दी गई है। धार्मिक गुरूओं की तरफ से अपील की गई है कि, वह पुलिस के साथ दें। शहर में अमनचैन बनाए रखें। नमाज के बाद सीधे घर जाएं। सोशल मीडिया पर भ्रामक खबरों से बचें।
यह रहेंगे सुरक्षा इंतजाम
धार्मिक स्थलों के असापास स्थित सभी ऊंची इमारतों पर रूफटाप ड्यूटी लगाई गई है।सादे कपड़ो में जगह-जगह पुलिस तैनात कर दी गई है। सिविल डिफेंस और पीस कमेटी के लोग भी तैनातज किए गए हैं। बैटरी रिक्शा पर लाउडस्पीकर लगाकर एनांउसमेंट होगा। सोशल मीडिया की हर पोस्ट की मानीटरिंग की जा रही है। किसी भी गलत और भ्रामक पोस्ट पर कारवाई होगी।
इतनी फोर्स लगाई गई
संयुक्त पुलिस आयुक्त आनंद प्रकाश तिवारी ने बताया कि किसी भी स्थिति से निपटने के लिए क्विक रिस्पांस टीमें बनाई गई हैं। संयुक्त पुलिस आयुक्त के मुताबिक, जुमे के दिन पांच डीसीपी, तीन एडिशनल डीसीपी, 14 एसीपी, 40 इंस्पेक्टर, 150 सब इंस्पेक्टर, दो हजार पुलिसकर्मी, 12 कंपनी पीएसी, तीन कंपनी अर्धसैनिक बल की लगाई गई हैं। शुक्रवार की सुबह पीस कमेटियों से बात की गई है। साथ ही लोगों से अपील की गई है कि, अफवाह में ध्यान न दें। गलत सूचना मिले तो तत्काल पुलिस को बताएं।
…तो उसको उसी की भाषा में जवाब मिलेगा
पुलिस लाइन में कमिश्नरेट के सभी पुलिस अधिकारियों, थाना व चौकी प्रभारियों को संबोधित करते हुए पुलिस आयुक्त विजय सिंह मीना ने कहा जुमा की नमाज के लिए पर्याप्त पुलिस बल उपलब्ध है। इसके बाद भी यदि कोई असामाजिक तत्व खुराफात करने का प्रयास करता है तो उसको उसी की भाषा में जवाब मिलेगा। किसी भी खुराफाती को बख्शा नहीं जाएगा, चाहे वह कोई भी हो। पुलिस आयुक्त ने साफ-साफ कहा कि घटना की जांच के नाम पर किसी भी निर्दोष को न फंसाया जाए और न परेशान किया जाए, यदि किसी की भी शिकायत मिली तो उसे बख्शा नहीं जाएगा।